
लॉकडाउन के चलते शादियां टल गई हैं. फाइल फोटो
कोविड-19 वैश्विक महामारी ने मांगलिक कार्य पर ग्रहण लगा दिया है. अप्रैल से 1 जुलाई तक इस सीजन में विवाह के कई लग्न हैं. इसके लिए कैटरिंग, बैण्ड, बस, मैरिजहॉल, मैरिज गार्डन, टेन्ट की बुकिंग लोगों ने कराई थी. कोरोना वायरस के संक्रमण के फैलने के खतरे को देखते हुए सरकार ने पब्लिक गैदरिंग पर पूरी तरह से रोक लगा रखी है. लॉकडाउन (Lockdown) के बाद भी इससे राहत मिलने के आसार कम ही हैं. इसके चलते इस सीजन की लगभग सभी शादियां स्थगित कर दी गई हैं.
लॉकडाउन में बिजनेस का ब्रेकडाउन
कोविड-19 वैश्विक महामारी ने मांगलिक कार्य पर ग्रहण लगा दिया है. अप्रैल से 1 जुलाई तक इस सीजन में विवाह के कई लग्न हैं. इसके लिए कैटरिंग, बैण्ड, बस, मैरिजहॉल, मैरिज गार्डन, टेन्ट की बुकिंग लोगों ने कराई थी. कोरोना वायरस के संक्रमण के फैलने के खतरे को देखते हुए सरकार ने पब्लिक गैदरिंग पर पूरी तरह से रोक लगा रखी है. लॉकडाउन (Lockdown) के बाद भी इससे राहत मिलने के आसार कम ही हैं. इसके चलते इस सीजन की लगभग सभी शादियां स्थगित कर दी गई हैं.
25 नवम्बर को अगला मुहूर्तएक जुलाई के बाद 25 नवम्बर को शादी का मुहूर्त है. इस दौरान लगभग छ: माह का इंतजार विवाह के लिए करना पड़ेगा. देवउठनी एकादशी के बाद ही मांगली कार्य हो सकेगा. रायपुर में मैरिज हॉल के संचालक सुशांत पाण्डेय ने बताया कि अब तक कोरोना संक्रमण के चलते 12 शादियों का आर्डर कैंसल हो चुका है. विवाह के दौरान हर वर्ष हजारों लेबर अलग अलग मैरिज हॉल में काम करते हैं, जिनका भी बड़ा नुकसान हुआ है. सवा करोड़ से अधिक का नुकसान का दावा उन्होंने खुद किया है. पंडित राधेश्याम शास्त्री का कहना है कि कुछ ही मुहूर्त ऐसे हैं, जिसमें शादी हो जाती है, अब 25 नवम्बर को शादी का लग्न है इसलिए काफी इंतजार करना होगा.
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First published: April 17, 2020, 4:17 PM IST