बिलासपुर. छत्तीसगढ़ के गौरेला पेंड्रा मारवाही जिले में 2 सरकारी विभाग आपस में ही उलझ गए हैं. बकाया बिल को लेकर बिजली विभाग और नगर पंचायत पेंड्रा में आपस मे ठन गई है. एक तरफ बिजली विभाग ने नगर पंचायत को 30 लाख रुपयों का बिजली बिल न पटाने पर दो दिन बिजली बंद कर दिया. वहीं अब नगर पंचायत पेंड्रा ने भी पलटवार करते हुए बिजली विभाग को 1 करोड़ 18 लाख का समेकित टैक्स का नोटिस भेज दिया है. पैसों के फेर में दोनों ही सरकारी विभाग आपस में उलझ गए हैं.
पूरा मामला जिला गौरेला-पेंड्रा- मरवाही का है, जहां बिजली विभाग और नगर पंचायत पेंड्रा में बिजली बिल बकाया और समेकित टैक्स का मामला काफी सुर्खियों में है. दरअसल नगर पंचायत पेंड्रा द्वारा पिछले 12 वर्षों से बिजली का बिल न पाटने पर बिजली विभाग ने नगर पंचायत को 30 लाख का बिजली बिल भेजा और दो दिनों के लिए स्ट्रीट लाईट का बिजली काट दिया. वहीं अब नगर पंचायत ने भी शहर में लगे बिजली पोल पर 12 वर्षों से समेकिट टैक्स बिजली विभाग द्वारा नही पटाने पर बिजली विभाग को नोटिस जारी कर दिया है. एक विधुत पोल का टैक्स 600 रुपये के हिसाब से शहर भर में लगे पोल का समेकिट टैक्स करीबन 1 करोड़ 18 लाख से ज्यादा है.
सड़कों पर पसरा अंधेरा
नगर पंचायत पेंड्रा के अध्यक्ष राकेश जालान का कहना है कि हमे बिल दिया गया. दो दिन सड़कों पर स्ट्रीट लाईट बन्द होने की वजह से अंधेरा रहा. हमने कुछ राशि पटाकर स्ट्रीट लाईट चालू करा लिया है. पर नगर पंचायत के वार्ड 1 से 15 वार्ड में लगे विधुत पोल का प्रति पोल 600 के हिसाब से 1 करोड़ 18 लाख का टैक्स बिजली विभाग ने वर्ष 2009 से अबतक नही पटाया है. बिजली विभाग अपना बिल काटकर बाकी का टैक्स अदा करें. जिसे क्षेत्र के विकास कार्यों में लगाया जायेगा. सीएसपीडीसीएल (छत्तीसगढ़ पावर डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी लिमिटेड के ईई यूके सोनवानी का कहना है कि विभागीय स्तर पर कार्रवाई की जा रही है.
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