https://www.biskitjunkiehouston.com/menu

https://www.menuhartlepool.com/

slot server jepang

Thursday, October 16, 2025
HomeBreaking Newsसागर में शिक्षा का हाल बेहाल: जर्जर भवन के चलते एक साल...

सागर में शिक्षा का हाल बेहाल: जर्जर भवन के चलते एक साल से खुले आसमान के नीचे पढ़ रहे 104 बच्चे

सागर: सागर जिले के ग्रामीण क्षेत्रों में सरकारी स्कूलों की बदहाली की एक चौंकाने वाली तस्वीर सामने आई है. बंडा ब्लाक की बूढ़ाखेरा ग्राम पंचायत के शासकीय प्राथमिक शाला सिसगुवां में पिछले एक साल से 104 बच्चे खुले आसमान के नीचे पेड़ के नीचे बैठकर पढ़ाई करने को मजबूर हैं. स्कूल का भवन इतना जर्जर हो चुका है कि उसमें कक्षाएं लगाना खतरे से खाली नहीं है.

स्कूल के शिक्षकों ने बताया कि अगस्त 2024 से ही सिसगुवां में कक्षाएं परिसर में पेड़ के नीचे लग रही हैं. एक साल पहले ही उन्हें अनहोनी की आशंका के चलते भवन में कक्षाएं न लगाने के निर्देश दिए गए थे, लेकिन उसके बाद न तो कोई नया भवन बना और न ही पुराने की मरम्मत हुई. प्रधानाध्यापक राजेश कुमार श्रीवास्तव ने पुष्टि करते हुए कहा कि भवन अगस्त 2024 में ही क्षतिग्रस्त घोषित कर दिया गया था और बच्चों को अंदर बैठाने की सख्त मनाही है. उन्होंने बताया कि नया भवन बनाने का प्रस्ताव भेजा गया है, लेकिन अभी तक उसे मंजूरी नहीं मिली है.

बच्चों का कहना है कि सर्दी हो या गर्मी, वे इन्हीं पेड़ों के नीचे बैठकर पढ़ते हैं. बारिश होने पर पढ़ाई में बाधा आती है और शिक्षकों को छुट्टी करनी पड़ती है. छात्रा समीक्षा ने बताया कि स्कूल भवन क्षतिग्रस्त है, इसका प्लास्टर गिर चुका है और गिरने की आशंका के चलते उन्हें बाहर बैठाया जाता है. बारिश होने पर उन्हें घर भेज दिया जाता है.

खतरे की आशंका के बीच पक रहा मध्याह्न भोजन:केवल बच्चे ही नहीं, स्कूल भवन की बदहाली से मध्याह्न भोजन पकाने वाली रसोइया भी परेशान हैं. जिस कक्ष में मध्याह्न भोजन पकता है, वह भी बदहाल है, फिर भी वे वहीं पर बच्चों के लिए भोजन पका रही हैं. रसोइया का कहना है कि वे घर से भोजन पकाकर नहीं ला सकतीं, क्योंकि 100 से अधिक बच्चों के लिए यहीं भोजन तैयार करना पड़ता है. शिक्षकों का स्टाफ कक्ष भी जर्जर हालत में है.

ग्रामीण मुन्ना सिंह लोधी ने बताया कि स्कूल भवन बहुत ही बदहाल है, छत से पानी टपकता है और हादसे की आशंका बनी रहती है. उन्होंने विधायक से लेकर अधिकारियों तक इसकी शिकायत की है, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई. उन्होंने बताया कि आम दिनों में तो स्कूल लग जाती है, लेकिन बरसात होने पर छुट्टी कर दी जाती है.शिक्षकों का कहना है कि समय-समय पर अधिकारी भी स्कूल का निरीक्षण करते हैं और उन्हें इस स्थिति की जानकारी है, लेकिन इसके बावजूद कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है. यह स्थिति ग्रामीण शिक्षा व्यवस्था की पोल खोलती है, जहां बच्चों का भविष्य अधर में लटका हुआ है.

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

RECENT COMMENTS

casino online slot depo 10k bonus new member slot bet 100 slot jepang
slot depo 10k slot gacor slot depo 10k slot bet 100 slot777 slot depo 5k slot online