- जयपुर के 88 होटल, रिसोर्ट्स का अधिग्रहण शुरू
- बच्चों पर 3 महीने फीस का दबाव नहीं बनाएंगे स्कूल
राजस्थान की राजधानी जयपुर में कोरोना वायरस तेजी से पांव पसार रहा है. मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है. मरीजों के लिए आइसोलेशन सेंटर और क्वारनटीन की सुविधा कम पड़ती नजर आ रही है. इस परेशानी से निपटने के लिए सरकार ने जयपुर के थ्री स्टार होटलों को क्वारनटीन सेंटर में तब्दील करने का फैसला किया है. प्रशासन इसकी तैयारियों में जुट गया है.
बता दें, कोरोना के प्रकोप के कारण परिस्थितियां हर दिन बदल रही हैं. इनसे निपटने के लिए जिला प्रशासन तैयारियों में जुटा है. इसी के तहत जयपुर में 88 होटल, रिसोर्ट्स और संस्थानों का अधिग्रहण किया जा रहा है. शहर में लगातार बढ़ रहे केसों की संख्या को देखते हुए अधिग्रहण की प्रक्रिया शुरू की जा रही है. इससे पहले जिले में 81 निजी अस्पतालों को भी चिन्हित किया जा चुका है.
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मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरुवार को कोरोना से जुड़ा एक और बड़ा फैसला लिया. उन्होंने आदेश दिया कि स्कूल 3 महीने की अग्रिम फीस नहीं ले सकेंगे. इतना ही नहीं, फीस के कारण किसी छात्र का नाम नहीं काटा जाएगा. उन्होंने कहा, सभी विद्यार्थियों को अगली क्लास में क्रमोन्नत किया जाएगा. मुख्यमंत्री ने बताया कि 10वीं, 12वीं कक्षा को छोड़कर शेष कक्षाओं के लिए यह नियम लागू होगा.
इससे पहले मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरुवार को कोरोना हालातों की समीक्षा की. इस दौरान उन्होंने कई अहम निर्णय लिए. जैसे कि शहरी क्षेत्रों में मास्क लगाना अनिवार्य कर दिया गया है. अब घर से बाहर निकलने पर मास्क लगाना जरूरी होगा अन्यथा पुलिस कार्रवाई कर सकती है. इसकी जिम्मेदारी जेडीसीटी रविकांत को दी गई है. इसी के साथ यह तय किया गया है कि आइसोलेशन फैसिलिटी के भी प्रभारी टी. रविकांत ही होंगे.
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रामगंज इलाके में गंभीर हालात को देखते हुए मुख्यमंत्री ने ये निर्देश दिए. अब इस इलाके में क्लस्टर के आधार सैंपलिंग की जाएगी. समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ने डीजीपी भूपेंद्र यादव से कहा कि प्रदेश में लॉकडाउन या कर्फ्यू का पालन कड़ाई से होना चाहिए और जो लोग इसे तोड़ें उनके खिलाफ कार्रवाई की जानी चाहिए.