सीएम भूपेश बघेल. फाइल फाइल.
छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) ने केन्द्रीय कोयला खान मंत्री प्रहलाद जोशी (Prahlad Joshi) को दोबारा पत्र लिखा है.
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने केन्द्रीय कोयला खान मंत्री प्रहलाद जोशी को अपने पत्र में बीते 23 जनवरी को भेजे गए अपने पत्र का भी उल्लेख किया है. इसमें लिखा है कि प्रदेश के निरस्त किए गए कोल ब्लाको में से कुल 8 पूर्व कोल ब्लाक आबंटितियों से कोयला खानों से निकाले गए कोयले के एवज में 295 रुपये प्रति मीट्रिक टन की दर से राशि भारत सरकार के कोयला खान मंत्रालय द्वारा अतिरिक्त लेवी के रूप में जमा कराई गई है, जो लगभग 4140.21 करोड़ रुपयों से भी अधिक है. इस राशि को राज्य हित में देने का आग्रह किया गया था, परंतु आज पर्यन्त भारत सरकार कोयला मंत्रालय द्वारा इस संबंध में की गई कार्रवाई की जानकारी अप्राप्त है.
सुप्रीम कोर्ट के निर्देश का हवाला
सीएम भूपेश बघेल ने पत्र में भारत सरकार कोयला मंत्रालय द्वारा 27 अगस्त 2015 के पत्र के संबंध में राज्य सरकार के मत का उल्लेख करने के साथ ही इस संबंध में सुप्रीम कोर्ट द्वारा पारित आदेश का उल्लेख किया है. उन्होंने उल्लेख करते हुए कहा है कि निर्धारित व वूसल की गई अतिरिक्त लेवी राज्य सरकार को देय होनी चाहिए, मुख्यमंत्री ने भारत के संविधान के अनुच्छेद के विभिन्न प्रावधानों, खान एवं खनिज अधिनियम 1951, खनिज रियायत नियम 2016 के नियमों एवं छत्तीसगढ़ भू-राजस्व संहिता के प्रावधानों का भी अपने पत्र में विस्तार से उल्लेख करते हुए कहा है कि राज्य सरकार का स्वामित्व होने तथा खनिजों पर राज्य शासन के पक्ष में रायल्टी, लेवी एवं अन्य कर वसूलने का प्रावधान है. मुख्यमंत्री ने कहा है कि संविधान में उल्लेखित प्रावधानों और माननीय सर्वोच्च न्यायालय द्वारा पारित विभिन्न आदेशों से यह स्पष्ट है कि पूर्व कोल ब्लाक आबंटितियों से 295 रुपये प्रति मीट्रिक टन की दर से भारत सरकार कोयला मंत्रालय द्वारा जमा कराई गई अतिरिक्त लेवी की राशि छत्तीसगढ़ राज्य शासन के हक की राशि है.ये भी पढ़ें:
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First published: May 10, 2020, 1:14 PM IST