राम की जीवन यात्रा साधारण से असाधारण बनने की है। वे साधारण मानव की तरह जन्मे। अपने कर्मों, धर्म और मर्यादा के पालन से परमात्मा बने। अयोध्या से लेकर लंका तक ऐसे अनगिनत प्रसंग हैं, जो दर्शाते हैं कि राम के विचार, राम के निर्णय, राम की नीति और राम के कथन उनके परमात्म तत्व के साक्षी हैं। वाल्मीकि से लेकर तुलसी ने राम की इसी महानता को अपने अमर काव्य में गाया है।
निकाय चुनाव के तैयारी में जुटी कांग्रेस
छत्तीसगढ़ में निकाय चुनाव को लेकर राजनीतिक हलचल तेज हो गई है. तीन दिवसीय छत्तीसगढ़ दौरे पर पहुंचे पीएल पुनिया आज कांग्रेस कार्यालय में अहम बैठक लेंगे. रायपुर में प्रदेश कांग्रेस कार्यकारिणी, जिला एवं शहर अध्यक्ष, जिला प्रभारी पदाधिकारियों की बैठक लेंगे.दोपहर 1 बजे मोर्चा संगठन के प्रदेश अध्यक्षों की बैठक, शाम 5 बजे कंट्रोल रूम सदस्यों की बैठक और रात्रि 7 बजे कांग्रेस विधायकों की बैठक लेंगे. पीएल पुनिया और सचिव चंदन यादव 1 दिसंबर को दिल्ली रवाना हो जाएंगे.
जोगी के खिलाफ कार्यवाही से फर्जी प्रमाण पत्र धारकों में मचा हडकंप
रायपुर। पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही है। जाति प्रमाण पत्र के मामले में पूर्व मुख्यमंत्री व छत्तीसगढ जनता कांग्रेस के सुप्रीमों अजीत प्रमोद जोगी के खिलाफ कार्रवाई से प्रदेश में फर्जी प्रमाण पत्र धारकों में हडकंप मचा है। प्रदेश में फर्जी जाति प्रमाण पत्र के आधार पर लाभ के पदों पर काम करने वालों की संख्या करीब 468 बताया जा रहा है, इनमें से 186 के खिलाफ जांच पूरी हो चुकी है। 6 निर्वाचित जनप्रतिनिधि के साथ कई शासकीय कर्मियों को फर्जी प्रमाण पत्र का दोषी पाया गया है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने दोषियों को एक माह के भीतर बर्खास्त करने का निर्देश दिये है। शासन के कठोर कार्रवाई से बचने कई लोगों हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाने में लगे है। मालूम हो कि फरवरी माह में विधानसभा में भाजपा सदस्य देवजी पटेल के सवाल पर आदिम जाति विकास मंत्री केदार कश्यप ने बताया था कि फर्जी जाति प्रमाणपत्र के आधार पर नौकरी करने की शिकायत पर आदिमजाति विकास विभाग के अंतर्गत हाईपावर कमेटी ने 124 प्रकरणों की जांच की है। इनमें 98 प्रकरणों में अब तक जांच पूरी कर ली गई है। 59 मामलों में जाति प्रमाणपत्र धारक दोषी पाए गए हैं और उनके प्रमाणपत्रों को निरस्त करने की कार्रवाई प्रक्रियाधीन है। मंत्री कश्यप के लिखित जवाब के अनुसार 6 मामलों में दोषियों को पद से पृथक करने की कार्रवाई की गई है। इनमें से 2 प्रकरण कोर्ट में लंबित हैं। इस तरह अब तक फर्जी प्रमाणपत्र के आधार पर नौकरी करने वाले 4 लोग ही हटाए जा सके हैं। बाकी फर्जी अब भी नौकरी कर रहे हैं।
28 विधायकों ने शपथ ली, पहली बार सभी कैबिनेट मंत्री
सिंधिया के करीबी माने जाने वाले 6 विधायकों को मंत्री बनाया गयादो महिलाओं इमरती देवी व विजयलक्ष्मी साधौ और एक निर्दलीय प्रदीप जायसवाल ने भी शपथ लीपहली बार विधायक बने 55 नेताओं को कमलनाथ के मंत्रिमंडल में मौका नहीं
भोपाल. मध्यप्रदेश में कमलनाथ सरकार के मंत्रिमंडल का मंगलवार को शपथ ग्रहण हुआ। राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने 28 विधायकों को मंत्री पद की शपथ दिलाई। पहली बार ऐसा हुआ कि सभी मंत्रियों को कैबिनेट मंत्री बनाया गया। इनमें एक निर्दलीय प्रदीप जायसवाल, दाे महिलाएं- विजयलक्ष्मी साधौ और इमरती देवी और एक मुस्लिम- आरिफ अकील को मंत्री बनाया गया है। 15 विधायक ऐसे हैं, जो पहली बार मंत्री बने, जबकि कांग्रेस से पहली बार विधायक बने 55 नए चेहरों में से किसी को भी मंत्रिमंडल में जगह नहीं दी गई। कमलनाथ ने 17 दिसंबर को मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ ली थी।
कमलनाथ खेमे से 10, दिग्विजय खेमे से 7 और सिंधिया खेमे से 6 विधायकों को मंत्री बनाया गया है। 3 मंत्री ऐसे हैं जिनका दिग्विजय और कमलनाथ, दोनों गुटों से बराबर संपर्क है। वहीं, 2 विधायक ऐसे हैं जिनका सभी खेमों में बराबर संपर्क है।
इन्होंने ली शपथ
विजयलक्ष्मी साधौ, सज्जन सिंह वर्मा, हुकुम सिंह कराड़ा, गोविंद सिंह, बाला बच्चन, आरिफ अकील, ब्रजेंद्र सिंह राठौर, प्रदीप जायसवाल (निर्दलीय), लाखन सिंह यादव, तुलसी सिलावट, गोविंद सिंह राजपूत, इमरती देवी, ओमकार सिंह मरकाम, डॉ. प्रभुराम चौधरी, प्रियव्रत सिंह, सुखदेव पान्से, उमंग सिंघार, हर्ष यादव, जयवर्धन सिंह, जीतू पटवारी, कमलेश्वर पटेल, लखन घनघोरिया, महेंद्र सिंह सिसोदिया, पीसी शर्मा, प्रद्युम्न सिंह तोमर, सचिन सुभाष यादव, सुरेंद्र सिंह बघेल, तरुण भनोट।
कमलनाथ खेमा | सज्जन सिंह वर्मा, बाला बच्चन, प्रदीप जायसवाल, ओमकार सिंह मरकाम, सुखदेव पान्से, उमंग सिंघार, हर्ष यादव, लखन घनघोरिया, सुरेंद्र सिंह बघेल, अरुण भनोत। |
दिग्विजय खेमा | जयवर्धन सिंह, गोविंद सिंह, ब्रजेंद्र सिंह राठौर, डॉ. विजयलक्ष्मी साधौ, प्रियव्रत सिंह, गोविंद सिंह राजपूत, पीसी शर्मा। |
कमलनाथ-दिग्विजय खेमों से बराबर संपर्क | हुकुम सिंह कराड़ा, कमलेश्वर पटेल, सचिन सुभाष यादव। |
सिंधिया खेमा | लाखन सिंह यादव, तुलसी सिलावट, इमरती देवी, डॉ. प्रभुराम चौधरी, महेंद्र सिंह सिसोदिया, प्रद्युम्न सिंह तोमर। |
सभी खेमों से बराबर संपर्क | आरिफ अकील, जीतू पटवारी। |
कमलनाथ सबसे अमीर
कमलनाथ की कुल संपत्ति 206.9 करोड़ रुपए है। यह उन्होंने 2014 में घोषित की थी। वहीं, मंगलवार को शपथ लेने वाले 28 मंत्रियों की कुल संपत्ति 220 करोड़ रुपए है।
अपनी कैबिनेट में नाथ सबसे बुजुर्ग
कमलनाथ कैबिनेट में 32 साल के जयवर्धन सिंह सबसे युवा मंत्री हैं। वे दिग्विजय सिंह के बेटे हैं। 72 साल के कमलनाथ अपनी कैबिनेट में सबसे बुजुर्ग हैं।
9 मंत्रियों की उम्र 60 से ज्यादा
कमलनाथ कैबिनेट की औसत आयु 53 साल है। दो मंत्री जयवर्धन और सचिन यादव (36) चालीस साल से कम उम्र के हैं। कमलनाथ समेत 9 मंत्री ऐसे जिनकी उम्र 60 साल से ज्यादा है। इनमें आरिफ अकील, ब्रजेंद्र सिंह राठौर, प्रभुराम चौधरी, गोविंद सिंह, हुकुम सिंह कराड़ा, पीसी शर्मा, सज्जन सिंह वर्मा, तुलसी सिलावट शामिल हैं।
28 मंत्रियों में से 13 ग्रेजुएट
शिक्षा | कितने मंत्री |
ग्रेजुएट | 13 |
पोस्ट ग्रेजुएट | 9 |
12वीं | 5 |
इंजीनियरिंग डिप्लोमा | 1 |
सपा-बसपा को मंत्रिमंडल में जगह नहीं
इससे पहले मंत्रिमंडल को लेकर चार दिन तक दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने मुख्यमंत्री कमलनाथ समेत प्रदेश के दिग्गज नेताओं के साथ बैठक की। ऐसा बताया गया कि अल्पमत की कांग्रेस को समर्थन देकर बहुमत दिलाने वाली बसपा और सपा भी मंत्रिमंडल में जगह पाने के लिए दिनभर दबाव बनाती रहीं। हालांकि, दोनों ही पार्टियों के किसी विधायक को पद नहीं मिला।
विधानसभा सत्र 7 जनवरी से
विधानसभा का सत्र 7 जनवरी से शुरू हो रहा है, जिसमें सभी विधायकों को प्रोटेम स्पीकर शपथ दिलाएंगे, जो कि सदन का वरिष्ठ नेता होता है। इस पद के लिए अभी भाजपा से गोपाल भार्गव का नाम आगे है। यह सत्र 11 जनवरी तक चलेगा। सरकार 10 संसदीय सचिव बना सकती है। इन्हें कैबिनेट या राज्यमंत्री का दर्जा होगा। इस बारे में मुख्यमंत्री ने विवेक तन्खा से चर्चा की है।