Wednesday, July 2, 2025
HomeUncategorizedHigh BP kam karne ke upay: High BP cause a heart attack...

High BP kam karne ke upay: High BP cause a heart attack and know how to control naturally – हार्ट अटैक को न्यौता देता है हाई ब्लड प्रेशर, डॉक्टर के इस मामूली उपाय से बच सकती है जान

हाई ब्लड प्रेशर एक कॉमन हेल्थ प्रॉब्लम बन गई है। अगर समय रहते इस पर ध्यान नहीं दिया गया तो यह कई अन्य गंभीर समस्याओं को जन्म दे सकता है। उच्च रक्तचाप (Hypertension) आमतौर पर डिटेक्ट नहीं होता है क्योंकि इसमें कोई वार्निंग साइन और विजिबल सिम्टम्स नहीं होते हैं लिहाजा हम इसे साइलेंट किलर कह सकते हैं। जयपुर स्थित SMS (Sawai Man Singh) हॉस्पिटल के सीनियर कंसल्टेंट फीजिशयन डॉ. अजीत सिंह (Department of Medicine

SMS Medical College Jaipur) ने नवभारत टाइम्स.कॉम से बातचीत में बताया कि अगर समय रहते हाई ब्लड प्रेशर पर ध्यान नहीं दिया गया तो यह समय के साथ बढ़ सकता है और आपके दिल की बीमारियों जैसे स्ट्रोक और कार्डियक अरेस्ट के खतरे को बढ़ा सकता है। बातचीत के दौरन डॉक्टर ने हमें हाइपरटेंशन के बारे में बहुत सी चीजें विस्तार से बताईं। साथ ही ये भी जानकारी दी कि किस तरह से आप इसे सही तरीके से मैनेज कर सकते हैं।

​ब्लड प्रेशर से होने वाले खतरे

डॉ. अजीत सिंह ने हाइपरटेंशन को लेकर बहुत सावधानी बरतने को कहा है। उन्होंने बताया कि इससे न सिर्फ दिल से जुड़ी बीमारियां होती हैं बल्कि अगर लंबे समय तक इसे नजरअंदाज किया गया तो कुछ चरम मामलों में हाई ब्लड प्रेशर अंग प्रणाली की विफलता (multiple organ failure), अंधापन, ब्रेन स्रिंक, किडनी फेलियर और ब्रेन स्ट्रोक का कारण भी बन सकता है। इतना ही नहीं, लेवल को पार करने पार करने पर नसों में भी ब्लड प्रेशर इंटेसिटी बढ़ जाती है।

​कितना होना चाहिए ब्लड प्रेशर

यह पूछे जाने पर कि औसतन कितना ब्लड प्रेशर होना चाहिए? तब जवाब में डॉक्टर ने बताया कि 135 से 145 milliequivalents per liter होना चाहिए। डॉ. कहते हैं कि 145 से ज्यादा होने पर शरीर को कई तरह की परेशानियां झेलनी पड़ सकती हैं। उन्होंने 135 से (milliequivalents per liter) कम होने पर भी कई तरह की समस्याएं होने का जिक्र किया है। डॉ. ने बताया कि ब्लड प्रेशर लो होने से लेजीनेस या कहें आलस आना, थकान, ब्रेन के अंदर सूजन जैसी सेहत समस्याएं होती हैं। सामान्य रक्तचाप की रीडिंग 120/80 mmHg होती है। 140/90 mmHg से अधिक रक्तचाप को उच्च रक्तचाप माना जाता है।

​कब करानी चाहिए जांच

डॉ. का कहना है कि वैसे तो इसकी कोई सटीक उम्र नहीं होती है लेकिन फिर 40 वर्ष की आयु के बाद हर साल ब्लड प्रेशर की जांच करवानी चाहिए। साथ ही वे कहते हैं कि कम उम्र में अनुअल रेगुलर टेस्ट उन लोगों के लिए महत्वपूर्ण है जो मोटापे, धूम्रपान या हाई ब्लड प्रेशर के पारिवारिक इतिहास से पीड़ित हैं। ऐसे लोगों को अपने सीरम का इलेक्ट्रोलाइट्स परीक्षण कराना चाहिए। रिपोर्ट में आपको अपना सोडियम, पोटेशियम क्लोराइड पर गौर करना चाहिए।

​कैसे कंट्रोल करें हाई ब्लड प्रेशर

सीनियर कंसल्टेंट के अनुसार, अगर कोई उच्च रक्तचाप से पीड़ित है, तो ज्यादातर मामलों में लोगों को इसे नियंत्रित करने के लिए दवा लेनी पड़ती है। लेकिन आप इसके जोखिम को अपने फूड इंटेक के जरिए भी कम कर सकते हैं। वह कहते हैं कि अगर आप फूड में नमक का सेवन कम कर देते हैं तो काफी हद तक हाइपरटेंशन को कम किया जा सकता है। एक्सपर्ट के मुताबिक, हमें दिन में एक चम्मच से अधिक नमक का सेवन नहीं करना चाहिए।

डीएएसएच (Dietary Approaches to Stopping Hypertension), आहार के अनुसार उच्च रक्तचाप को सोडियम के सेवन को कम करके नियंत्रित किया जा सकता है। DASH द्वारा प्रति दिन केवल दो-तिहाई चम्मच नमक का सेवन करने की सलाह दी जाती है। DASH डायट में बहुत सारी हरी सब्जियां, बैलेंस डायट का सेवन और केवल 50 प्रतिशत मक्खन या मार्जरीन का सामान्य रूप से उपयोग करने का सुझाव दिया जाता है। इसके अतिरिक्त हमें तली हुई चीजों के खान-पान को भी सीमित या बंद कर देना चाहिए। क्योंकि फ्राइड चीजों में नमक की मात्रा ज्यादा होती है।


Source link

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

RECENT COMMENTS

casino online slot depo 10k bonus new member slot bet 100 slot jepang
slot depo 10k slot gacor slot depo 10k slot bet 100