- जिले के सवा लाख बच्चों को मिलेगा फायदा, बोर्ड की परीक्षाओं पर अभी फैसला नहीं
- जनरल प्रमोशन मिलने से बस्तर जिले के 1,23,047 बच्चों को मिलेगा फायदा
दैनिक भास्कर
Apr 02, 2020, 05:22 PM IST
जगदलपुर. कोरोना के कारण 14 अप्रैल तक किए गए लॉकडाउन का सबसे बड़ा फायदा स्कूली बच्चों को मिला है। लॉकडाउन से पहले ही स्कूलों को बंद कर दिया गया था, जहां 25 मार्च के बाद से शुरू होने वाली परीक्षाओं को भी स्थगित कर दिया गया।
मंगलवार की देर शाम मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने पूरे छत्तीसगढ़ के स्कूलों में पहली से 9वीं और 11वीं की कक्षाओं में पढ़ रहे बच्चों को जनरल प्रमोशन देने की घोषणा कर दी। ऐसे में अब बिना परीक्षा के ही बच्चे अगली कक्षा में पहुंच गए हैं। हालांकि सीबीएसई और आईसीएसई को लेकर अब भी असमंजस बना हुआ है, लेकिन बताया जाता है कि इन्हें भी जनरल प्रमोशन का फायदा मिल सकता है। जनरल प्रमोशन मिलने से बस्तर जिले के 1,23,047 बच्चों को फायदा मिलेगा। इसमें सबसे ज्यादा बच्चे प्राथमिक शालाओं के हैं।
8वीं तक ग्रेड के आधार पर बच्चों को पास करेंगे
शिक्षा का अधिकार कानून के तहत पहली से आठवीं तक हर बच्चे को ग्रेड के आधार पर अगली कक्षा में प्रमोट किया जाना है पहले से ही तय है। ऐसे में पहली से आठवीं तक की कक्षा में पढ़ने वाला हर बच्चा अगली कक्षा में पास कर भेजा जाएगा। इसके बाद 9वीं और 11वीं के बच्चों को परीक्षा का सामना कर अगली कक्षा में बढ़ना पड़ता है, ऐसे बच्चों को भी इस साल पास कर दिया जाएगा।
छत्तीसगढ़ बोर्ड के बच्चों को ही मिला है जनरल प्रमोशन
निजी स्कूलों में चलने वाले सीबीएसई और आईसीएसई कोर्स में जनरल प्रमोशन का फायदा मिलेगा या नहीं, इसे लेकर असमंजस की स्थिति बनी हुई है। जिला शिक्षा अधिकारी बीआर ध्रुव ने बताया कि अब तक जो आदेश आया है, उसके मुताबिक सिर्फ छत्तीसगढ़ बोर्ड के बच्चों को ही जनरल प्रमोशन दिया जाना है। आदेश में स्पष्ट नहीं है कि सीबीएसई वालों को फायदा दिया जाएगा या नहीं।
36 साल बाद फिर से बच्चों को मिला जनरल प्रमोशन
मालूम हो कि पिछली बार 36 साल पहले साल 1984 में हुए दंगों के बाद आपातकाल की घोषणा के साथ ही स्कूलों में बच्चों को जनरल प्रमोशन दे दिया गया था। उस समय पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या और सिख दंगों के कारण पूरे देश में आपातकाल घोषित कर दिया गया था। ऐसे में बोर्ड परीक्षाओं से लेकर होम एग्जाम तक बच्चों को परीक्षा से छूट दे दी गई।
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